तूने मुखोटे पर मुखोटे लगाए हर दम
अब तो आखिर असल चेहरा रहने दे
सब कुछ मिटा दिया अब कम से कम
जो दिया है घाव उसे तो गहरा रहने दे
सारी जिंदगी ही गुजर गयी अंधेरो में
जरा मेरी मौत को तो सुनहरा रहने दे
#गुनी…
मेरी अपनी कहानी
तूने मुखोटे पर मुखोटे लगाए हर दम
अब तो आखिर असल चेहरा रहने दे
सब कुछ मिटा दिया अब कम से कम
जो दिया है घाव उसे तो गहरा रहने दे
सारी जिंदगी ही गुजर गयी अंधेरो में
जरा मेरी मौत को तो सुनहरा रहने दे
#गुनी…