आज से मेरे काबिल दोस्त सोच समझकर कर पियें मैंने सुना है पीने वालो की, […]
हिंदुस्तान बना दूंगा
लिख लेख नया , मैं भारत की पहचान बना दूंगागीत सुना , हिन्द को सारे […]
भगवान बदल जाते हैं
दो दो रूपए के चलते लोगो के ईमान बदल जाते हैंवक़्त के साथ साथ आजकल […]
अच्छा तू बचपन में मर जाता
शुभ प्रभात (क्षमा सहित मुक्तक) छिपकर बैठा घर में इससे तो अच्छा तू चूहे , […]
ऐ चाँद अभी भौर है
वो निकली है यहीं कहीं से अभी अभी सुना शौर हैजरा छिपाकर रख चांदनी को […]
मुझे सिर्फ इतना फ़िक्र है
तू फिर आएगी दिल तोड़कर, अपना बनाने बस्ती में ये जिक्र हैबेसक मैं जैसा भी […]
आँखों में पानी देता है
वक़्त से खबरदार ये वक़्त चोट-गहरी निशानी देता हैसंभल रख कदम यहाँ इन्सां गवा सारी […]
भारत माँ के गुलाम बन जाना
राजनीती का शौक चढ़ जाए कभी तो अब्दुल कलाम बन जानातपने की बारी आए कहीं […]
नयी कहानी हो गई
वो मिलने आती थी चांदनी रातो को वैसे ये बात पुरानी हो गईउसका आना-जाना था […]
धड़कन भी तेरी है
क्या शक्ल, क्या सूरत, दिल की खूबसूरती जरुरी हैबिना मौहब्बत के इंसान की कमाई आधी […]