सिर्फ तुम…हां तुम…ओह हो अरे बाबा तुम
बेसक कमबख्त जीत गयी जंग, मेरा दिल तोड़कर
आज ही की तो बात है चली गयी अकेला छोड़कर
वायदा किया था कभी दूर तलक साथ निभाने का
शायद मंद हवा थी, चली गयी राह मे मुँह मोड़कर
#गुनी…
मेरी अपनी कहानी
सिर्फ तुम…हां तुम…ओह हो अरे बाबा तुम
बेसक कमबख्त जीत गयी जंग, मेरा दिल तोड़कर
आज ही की तो बात है चली गयी अकेला छोड़कर
वायदा किया था कभी दूर तलक साथ निभाने का
शायद मंद हवा थी, चली गयी राह मे मुँह मोड़कर
#गुनी…